शासन द्वारा गांधी सागर निर्माण के समय रामपुरा नगर वासी से किए गए वादे पूरे नहीं करने के कारण यूनियन कार्बाइड़ कारखाना भी झेलने को तैयार है रामपुरा वासी

रामपुरा गांधी सागर बांध से प्रभावित यह नगर लगातार अपना वैभव खोता जा रहा है होलकर स्टेट की राजधानी रहा यह नगर कभी एक लाख की आबादी का का शहर रहा है गांधी सागर बांध के निर्माण मे आए डूब के गांव लगभग 40 गांव का व्यापार व्यवसाय इस नगर से जुड़ा हुआ था गांधी सागर के निर्माण के समय यह नगर भी पूर्ण रूप से डुब में आ रहा था इस नगर का मुआवजा भी तय हो चुका था लेकिन इस नगर को बचाने के लिए बोहरा समाज ने प्रयास किया तत्कालीन गरोठ जिले के सांसद श्री माणक भाई अग्रवाल ने शासन स्तर पर इसकी पहल की भारतीय जनसंखेत नेता पूर्व मुख्यमंत्री श्री सुंदरलाल पटवा की दूर दृष्टि थी उन्हें याद था कि इस नगर को बचाने और इस नगर से जुड़े 40 गांव डूब जाने के कारण इस नगर का व्यापार व्यवसाय पूर्ण रूप से प्रभावित होगा और यह नगर एक उजड़ा चमन हो जाएगा इस कारण उन्होंने जन आंदोलन किया लेकिन कांग्रेस शासन ने उनकी एक नहीं सुनी और इस नगर को मुआवजा नहीं मिला और इस नगर को बचाने के लिए इस नगर की छाती पर एक रिंगवाल का निर्माण किया गया यह सब इसलिए हुआ रामपुरा नगर में बोहरा समाज की विश्व प्रसिद्ध बाबा मुला खान साहब की दरगाह है गांधी सागर निर्माण के समय शासन ने और कांग्रेस नेताओं ने बड़े-बड़े आश्वासन इस नगर की जनता को दिए जिसमें पानी फ्री में देने और लाइट फ्री में देने का वादा किया गया था तथा इस नगर में पर्याप्त रूप से व्यापार व्यवसाय के लिए उद्योग लगाने के लिए बात कही गई थी लेकिन दुर्भाग्य हैं की वादे पूरे हुए ही नहीं और लगातार हमेशा चुनाव में विकास करने के वादे कर वोट प्राप्त करने का खेल चलता आ रहा एक मात्र एक विधायक एवं सांसद एवं साहित्यकार स्वर्गीय बालकवि बैरागी जी ने अपनी जन्मभूमि का कर्ज उतारने के लिए कॉलेज आईटीआई नल योजना नवोदय बैरागी जी के प्रयास से रामपुरा नगर में स्थापित हुए 20 सालों के भाजपा के शासन में मात्र एक उपलब्धि है वो भी नवीन बस स्टैंड बाकी सीमेंट कांक्रीट रोड़ का निर्माण डा़मर रोड़ का निर्माण मांगलिक भवन और रामपुरा उत्भन सिंचाई योजना यह कार्य भी हुए हैं लेकिन तमाम भ्रष्टाचार की भेंट चढ़े हैं डा़मर रोड का उखड़ना सीमेंट कांक्रीट रोड़ पर गड्ढे होना स्पष्ट रूप से भ्रष्टाचार का प्रमाण है रामपुरा नगर को चाहिए रोजगार मूलक हो उद्योग धंधे हो रामपुरा नगर की महिलाएं रोज ट्रैक्टर में सवार होकर इस नगर से दूर काम करने जाती है यहां के बेरोजगार युवा भी बाहर काम करने जाते हैं इस नगर की 75% परिवारों की यह स्थिति है एक या दो सदस्य दूसरे नगर में निवास कर काम कर अपने परिवार का पालन पोषण करने में सहयोग कर रहे हैं दो मकान और एक खंडहर तो रामपुरा की निशानी बन गया अब ऐसा भी नहीं है की रामपुरा नगर में उद्योग धंधे स्थापित नहीं हो सके और यहां के लोगों को रोजगार नहीं मिल सके लेकिन ऐसे शासन स्तर पर प्रयास नहीं हो रहे हैं एक तरह से यहां के लोग व्यापार व्यवसाय और रोजगार नहीं होने के कारण यहां के लोग मृत पाए जैसे हैं ऐसी स्थिति में यूनियन कार्बाइड जैसा उद्योग भी रामपुरा नगर वासी झेलने को तैयार जैसा की भोपाल में स्थापित इस कारखाने से गैस रिसाव के कारण 35000लोग मारे गए थे और शासन ने उन्हें मुआवजा दिया अब मृतपाए नगर में यह उद्योग स्थापित हो जाता है तो बेरोजगारी तो इस नगर की दूर होगी और शासन को भी इससे फायदा होगा और इस नगर को पर्याप्त मात्रा में रोजगार उपलब्ध हो जाएगा हिंदी पत्रकारिता दिवस सभी पत्रकार साथियों को बधाई नगर की चेतना हेतु निवेदन निष्पक्ष आवाज से तारीका राठौर की रिपोर्ट मो.8085637012